ऊर्जा निगमों में टकराव टालने हेतु मुख्यमंत्री से हस्तक्षेप की अपील

 16 मार्च की रात्रि से 72 घण्टे की हड़ताल             

ऊर्जा निगमों में टकराव टालने हेतु मुख्यमंत्री से हस्तक्षेप की अपील

लखनऊ,11 मार्च 2023-विद्युत कर्मचारी संयुक्त संघर्ष समिति, उप्र ने ऊर्जा निगमों के शीर्ष प्रबन्धन के रवैये के चलते बने अनावश्यक टकराव को टालने हेतु प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से हस्तक्षेप करने की अपील की है। आज लखनऊ में संघर्ष समिति द्वारा आयोजित प्रदेशव्यापी आम सभा में प्रस्ताव पारित कर मा. मुख्यमंत्री से ऊर्जा निगमो में कार्य का स्वस्थ वातावरण बनाये जाने हेतु प्रभावी हस्तक्षेप करने की अपील की गयी।
    संघर्ष समिति द्वारा पारित प्रस्ताव में कहा गया कि ऊर्जा मंत्री अरविन्द कुमार शर्मा एवं मा. मुख्यमंत्री के मुख्य सलाहकार अवनीश अवस्थी के साथ विगत 03 दिसम्बर को हुए लिखित समझौते का क्रियान्वयन न होने से बिजली कर्मियों में भारी रोष व्याप्त है। संघर्ष समिति ने आरोप लगाया है कि समझौते के क्रियान्वयन में सबसे बड़ी बाधा ऊर्जा निगमों के चेयरमैन एम देवराज का रवैय्या है जो कि ऊर्जा मंत्री के साथ हुए समझौते को मानने से इंकार कर रहे हैं। ऊर्जा निगमों के चेयरमैन का रवैया इतना नकारात्मक है कि वे शक्तिभवन में उपस्थित रहते हुए भी अपर मुख्य सचिव(ऊर्जा) से संघर्ष समिति की वार्ता में उपस्थित नहीं रहते हैं।
    इस प्रकार वे मा. ऊर्जा मंत्री के साथ हुए समझौते के प्रति सार्वजनिक रूप से अनादर व्यक्त कर रहे हैं, जिससे बिजली कर्मियों में रोष बढ़ता जा रहा है।
    संघर्ष समिति की आम सभा में यह चेतावनी दी गयी कि यदि 16 मार्च तक ऊर्जा मंत्री के साथ हुए समझौते का क्रियान्वयन सुनिश्चित न किया गया तो 16 मार्च कि रात्रि 10 बजे से उप्र के सभी ऊर्जा निगमों के तमाम बिजली कर्मचारी, जूनियर इंजीनियर, अभियन्ता एवं निविदा/संविदा कर्मी 72 घण्टे की हड़ताल पर जाने हेतु बाध्य होंगे जिससे उत्पन्न होने वाली किसी भी परिस्थिति का पूर्ण उत्तरदायित्व ऊर्जा निगमों के शीर्ष प्रबन्धन का होगा।
    हड़ताल पर जाने के पूर्व बिजली कर्मी 14 मार्च को प्रदेश के सभी जनपदों व बिजली परियोजनाओं पर शान्तिपूर्वक मशाल जुलूस निकालेंगे। 15 मार्च को प्रातः 10 बजे से हड़ताल प्रारम्भ करने से पूर्व तक अर्थात् 16 मार्च की रात्रि 10 बजे बिजलीकर्मी कार्य बहिष्कार करेंगे।
    संघर्ष समिति के पदाधिकारियों ने चेतावनी दी है कि यदि उक्त लोकतांत्रिक ध्यानाकर्षण के कारण किसी भी बिजलीकर्मी का उत्पीड़न किया गया तो उसी समय प्रदेशभर में अनिश्चितकालीन हड़ताल प्रारम्भ हो जायेगी और साथ ही सामूहिक जेल भरो आन्दोलन प्रारम्भ कर दिया जायेगा।
    आज सभा में संघर्ष समिति के पदाधिकारियों में राजीव कुमार सिंह, जितेन्द्र सिंह गुर्जर, जय प्रकाश, जी.वी. पटेल, मनीष कुमार मिश्र, गिरीश कुमार पाण्डेय, महेन्द्र राय, सुहैल आबिद, पी के दीक्षित, शशिकान्त श्रीवास्तव, मोहम्मद वसीम, छोटे लाल दीक्षित, आर वाई शुक्ला, योगेन्द्र कुमार, विशम्भर सिंह, राम सहारे वर्मा, शम्भू रतन दीक्षित, पी एस बाजपेयी, जी.पी. सिंह, रफीक अहमद, आर0के0 सिंह, देवेन्द्र पाण्डेय ने सम्बोधित किया।

Latest News

कोयला आयात की हिस्सेदारी में कमी कोयला आयात की हिस्सेदारी में कमी
नई दिल्ली-देश के कुल कोयला खपत में कोयला आयात की हिस्सेदारी में कमी दर्ज की गयी है। अप्रैल 2023 से...
भारत राष्ट्रीय हरित हाइड्रोजन मिशन के लक्ष्यों को प्राप्त कर लेता है, तो यह देश को वैश्विक हाइड्रोजन विकास में सबसे आगे रखेगा": आईपीएचई के उपाध्यक्ष
भारत की तितलियों और पतंगों पर एक एक सचित्र मार्गदर्शिका
नीली अर्थव्यवस्था पर अंतर-मंत्रालयी संयुक्त कार्यशाला का आयोजन
भारतीय आईपीआर के सृजन को बढ़ावा देने के लिए 5जी और 6जी से परे त्वरित अनुसंधान के लिए रोडमैप प्रस्तुत
जनवरी 2024 के दौरान देश में खनिज उत्पादन 5.9 प्रतिशत बढ़ा
हरित हाइड्रोजन को बढ़ावा देने के लिए बिजनेस मॉडल, विनियम और बुनियादी ढांचे के बारे में विचार-विमर्श
परमाणु ऊर्जा के शांतिपूर्ण उपयोग पर जागरूकता बढ़ाने के लिए समझौता
ग्रिड-इंडिया ने मिनीरत्न कंपनी का दर्जा प्राप्‍त किया
सैन्‍य अभ्‍यास ‘टाइगर ट्राइंफ़ –24’