नया वर्ष ओबरा परियोजना के लिए रहेगा चुनौतियों भरा

हम सभी एक ऊर्जा संरक्षित भविष्य की दिशा में मिलकर काम करेंगे-इ.राधे मोहन

नया वर्ष ओबरा परियोजना के लिए रहेगा चुनौतियों भरा

फ़ाइल फोटो-ओबरा तापीय परियोजना

नई दिल्ली-देश की सबसे पुरानी कोयला आधारित बिजली परियोजनाओं में एक ओबरा तापीय परियोजना ने तमाम चुनौतियों के बावजूद नए वर्ष के लिए बड़े लक्ष्य तय कर रखे हैं।अपने स्थापना के 56 वर्ष बाद भी वर्ष 2023 में यूपी को स्वयं की उत्पादन क्षमता में वृद्धि का गौरव देने वाली ओबरा परियोजना नए वर्ष में भी ऊर्जा क्षेत्र के लिए मिसाल बनने की ओर अग्रसर है। वर्ष 2023 में 660 मेगावाट के नए उत्पादन के साथ वर्ष 2024 में भी ओबरा परियोजना से 660 मेगावाट का नया उत्पादन जुड़ेगा। इसके अलावा नए वर्ष में ही ओबरा में 1600 मेगावाट क्षमता की नई परियोजना 'ओबरा डी' की स्थापना के लिए जमीन तैयार करनी है,लिहाजा नया वर्ष ओबरा परियोजना के लिए बड़ी चुनौतियों भरा हुआ है। 

वर्ष 2024 के पहले दिन ओबरा परियोजना के मुख्य महाप्रबंधक इ.राधे मोहन सहित आला अधिकारी जब मीडिया से रूबरू हुए तो नए वर्ष की चुनौतियों को लेकर चिंता और उत्साह दोनों देखने को मिला। इ.राधे मोहन ने कहा कि हम सभी मिलकर एक सशक्त और समृद्धि शील समाज की दिशा में काम करेंगे।इस समय, हम प्रोजेक्ट के आगे के कदमों की योजना बना रहे हैं, जिससे हम आने वाले साल में भीअधिक समृद्धि प्राप्त कर सकें।पत्रकारों से सहयोग की अपील की ताकि हम सभी मिलकर एक ऊर्जा संरक्षित, सुरक्षित, और सस्तीपूर्ण ऊर्जा स्थिति की दिशा में काम कर सकें।

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उत्पादन वृद्धि पर फोकस 

मुख्य महाप्रबंधक ने बताया कि इस समय, हम नए और सुधारित प्रौद्योगिकी को शामिल कर रहे हैं जिससे हम अपने परियोजना की प्रदर्शन क्षमता को और बढ़ा सकें। हम ऊर्जा उत्पादन में वृद्धि के लिए नए और सुरक्षित तकनीकों का
समर्थन करते हैं ताकि हम आने वाले समय में भी ऊर्जा समस्याओं का समाधान कर सकें।वर्तमान में ओबरा ‘ब’ तापीय परियोजना की 200मे0वा0 की 05 इकाइयों में से इकाई सं0 9, दिनांक 01.11.2023 से ओवरहालिंग हेतु बन्द है, जिसको शीघ्र ही परिचालित अवस्था में लाया जायेगा। इसी बीच इकाई सं0 12 को ओवरहालिंग हेतु बन्द किये जाने का प्रस्ताव विचाराधीन है। इन दोनों इकाइयों की ओवरहालिंग पूर्ण होने के उपरान्त ओबरा ‘ब’ तापीय परियोजना की इकाइयों से अधिकतम विद्युत उत्पादन प्राप्त किया जा सकेगा।

दिनांक 22.12.2016 को प्रारम्भ हुए 2x 660मे0वा0 ओबरा ‘सी’ परियोजना के निर्माण कार्यों के अन्तर्गत ओबरा ‘सी’ परियोजना की प्रथम इकाई दिनांक 26.12.2023 के अपराह्न 02.01 बजे पूर्ण लोड पर चला ली गयी है। विदित है कि इसके पूर्व इकाई का ब्वायलर हाइड्रो टेस्ट माह नव0, 2020 में, तदोपरान्त ब्वायलर लाईट-अप माह अप्रैल, 2022 में, ऑयल सिंक्रोनाइज़ेशन माह अप्रैल, 2023 तथा ग्रिड से समकालन दिनांक 26.08.2023 को कर लिया गया था। कोरोना महामारी के कारण विलम्बित हुई उ0प्र0 सरकार की इस महत्वाकांक्षी परियोजना को शीघ्रातिशीघ्र पूर्ण कराये जाने हेतु उ0प्र0 शासन तथा निगम मुख्यालय स्तर से नियमित अनुश्रवण किया जा रहा था। इकाई के पूर्ण लोड पर परिचालित हो जाने से
प्रदेश को 660मे0वा0 बिजली उपलब्ध होने लगेगी।

कठिनाईयों का सामना करने के लिए तैयार

 2x 800मे0वा0 ओबरा ‘डी’ परियोजना का निर्माण ओबरा परिक्षेत्र में किया जाना है।किसी भी परियोजना के निर्माण के लिए सबसे बड़ी आवश्यकता भूमि की उपलब्धता होती है और ओबरा‘डी’ परियोजना परियोजना के लिए ओबरा कालोनी के कई सेक्टरों का ध्वस्तीकरण किया जाना है। इस प्रक्रिया में सभी का सहयोग अपेक्षित हैेेेेेेेेेेेेेेेेेेेेेेेे, जिससे जल्द जल्द से ओबरा ‘डी’ परियोजना की स्थापना हो सके तथा ओबरा परियोजना विद्युत आपूर्ति के क्षेत्र में पुनः अपने स्वर्णिम इतिहास को दोहरा सके। कहा कि इस नए वर्ष में, हम अपने परियोजना को और भी स्थायी बनाने के लिए कठिनाईयों का सामना करने के लिए तैयार हैं, लेकिन हम इसे एक सुगम और सकारात्मक दिशा में करने के लिए प्रतिबद्ध हैं। हम अपने कर्मचारियों की प्रोफेशनलिज्म को बढ़ावा देने के लिए प्रशिक्षण और विकास के लिए नई स्कीमें लाएंगे,ताकि वे अपने क्षमताओं को और बढ़ा सकें और हम समृद्धि की ओर बढ़ सकें।

हम अपने परियोजना के पर्यावरणीय प्रभाव को कम करने के लिए सकारात्मक कदम उठा रहे हैं। हम ऊर्जा संग्रहण तकनीक का अध्ययन कर रहे हैं जिससे कि हम ऊर्जा का उपयोग और भी अच्छे तरीके से कर सकें और यह पर्यावरण को कम प्रभावित करे।

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वर्ष 2023 बना मील का पत्थर 

सीजीएम ने कहा कि हमने पिछले वर्ष में कई महत्वपूर्ण मील के पत्थर हासिल किए हैं।पिछले वर्ष, हमने अपने प्रदर्शन की गुणवत्ता में सुधार करने के लिए कई उपायों को अमल में लाया है,जिससे हमने ऊर्जा उत्पादन को बढ़ावा दिया है और पर्यावरण संरक्षण की दिशा में भी कदम से कदम मिलाकर चला गया है। हमने नए तकनीकी उन्नतियों का समर्थन किया है जिससे कि हमारा प्रदर्शन औरभी सुरक्षित और अधिक अच्छा हो सके।हमारे परियोजना में कई पहलुओं पर चर्चा करते हुए, हमने पिछले वर्ष को एक सफल और सात्त्विक साल माना है। हमने अपने कर्मचारियों को अपने कौशल का सर्वोत्तम उपयोग करने के लिए प्रोत्साहित किया है। हमने नए ऊर्जा स्रोतों की खोज की है जिससे हम अपने परियोजना को और भी सुरक्षित बना सकें।

ये रहे मौजूद 

महाप्रबंधक इ.पीसी अग्रवाल,महाप्रबंधक इ.योगेश गुप्ता,महाप्रबंधक इ.सिंघल,उप महाप्रबंधक इ.एके राय,अधिशासी अभियंता इ.संजय महतो और अनुराग मिश्रा मौजूद रहे।  



 

 

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