सोन नदी उफान पर! बिहार में खतरे का अलर्ट
यदुनाथपुर में खतरे का निशान पार, जपला में भी चेतावनी स्तर से ऊपर पहुँचा जलस्तर
पूर्वी मध्यप्रदेश और उत्तर छत्तीसगढ़ में हो रही लगातार भारी बारिश और बाणसागर डैम से 93,000 क्यूसेक पानी छोड़े जाने का असर अब सोन नदी के जलस्तर पर साफ दिखाई दे रहा है। शनिवार दोपहर 12 बजे बाणसागर के सात फाटक खोल दिए गए थे, जिसके बाद से सोन नदी का जलस्तर तेजी से बढ़ा है।
सिंगरौली, सीधी, रीवा, सतना, अनुपपुर और शहडोल के साथ-साथ छत्तीसगढ़ के बलरामपुर, सूरजपुर, कोरिया और जशपुर जिलों में भारी बारिश के कारण नदियों का प्रवाह तेज हो गया है। सोन नदी के जलस्तर में अचानक आई तेजी से उत्तर प्रदेश, बिहार और झारखंड के कई जिलों में हाई अलर्ट जारी कर दिया गया है।
यदुनाथपुर में खतरे का निशान पार
रविवार सुबह 6 बजे बिहार के रोहतास जिले के यदुनाथपुर में सोन नदी का जलस्तर 147.35 मीटर तक पहुँच गया, जो कि खतरनाक जलस्तर 147.14 मीटर को पार कर चुका है। इसी तरह झारखंड के पलामू ज़िले के जपला में भी सोन नदी चेतावनी स्तर को पार कर गई है।
जपला से पूर्व सोन नदी में मिलने वाली नॉर्थ कोयल नदी से लगातार भारी मात्रा में पानी आ रहा है। छत्तीसगढ़ और झारखंड के बलरामपुर और गढ़वा जिलों में हो रही बारिश ने इस स्थिति को और गंभीर बना दिया है।
बाणस, गोपद, कनहर और विजुल नदियों ने भी बढ़ाया खतरा
बाणसागर डैम से छोड़े गए पानी के साथ ही उसकी सहायक नदियाँ बाणस, गोपद, कनहर और विजुल भी भारी प्रवाह के साथ सोन नदी में मिल रही हैं। इससे सोन नदी के जलस्तर में 10 फीट से अधिक की वृद्धि दर्ज की गई है।
मध्यप्रदेश के सीधी जिले और उत्तर प्रदेश के सोनभद्र में प्रशासन ने पहले ही अलर्ट जारी कर दिया था।
चोपन, चुरहट, कुलदह ब्रिज और नेगाही में बढ़ा दबाव
शनिवार रात 1 बजे के करीब सोनभद्र के चोपन में नदी का जलस्तर चेतावनी स्तर के करीब 169.6 मीटर पहुँच गया था। रविवार सुबह 8 बजे तक यह घटकर 168.85 मीटर पर आ गया, लेकिन लगातार बारिश और ऊपर से आ रहे पानी के चलते पुनः बढ़ने की आशंका है।
सोन नदी के कुलदह ब्रिज, चुरहट, नेवारी, नेगाही और अन्य स्थानों पर जलस्तर में वृद्धि दर्ज की गई है। सीमावर्ती क्षेत्रों में बाढ़ जैसी स्थिति को देखते हुए प्रशासन ने राहत व बचाव टीमें सक्रिय कर दी हैं।