अधिकतम जलस्तर को पार कर गया रिहन्द बांध
ओबरा डैम का एक फाटक खुला
देश में सबसे ज्यादा तापीय बिजली उत्पादन में जलीय आधार बनने वाले रिहन्द बांध का जलस्तर सोमवार तड़के अधिकतम जलस्तर ( एमडब्ल्यूएल ) 867.56 फीट को पार कर गया है। सुबह आठ बजे रिहन्द का जलस्तर 867.8 फीट पहुँच गया था। कई दशक बाद जुलाई माह में रिहन्द बांध के अधिकतम जलस्तर तक पहुँचने से जलविधुत उत्पादन को पंख लग सकता है।
फिलहाल रिहन्द स्थित पिपरी जलविधुत परियोजना की 5 इकाइयों से उत्पादन कराया जा रहा है। इसके अलावा रिहन्द की डाउनस्ट्रीम परियोजना ओबरा जलविधुत घर की भी तीनो इकाइयों से जमकर उत्पादन कराया जा रहा है। लगातार दूसरे वर्ष रिहन्द और ओबरा जलविधुत घर के तय लक्ष्य से ज्यादा उत्पादन करने की स्थिति बन गयी है। उधर स्थानीय प्रशासन ने निचले सीमावर्ती इलाकों के लिए चेतावनी जारी कर दी है।
इनफ्लो में हो रही कमी
फिलहाल रिहन्द में पानी की आवक में तेजी से कमी होते जा रही है। 27 जुलाई सुबह आठ बजे जहाँ पानी की आवक 171000 क्यूसेक के करीब हो रहा था,वहीं 28 जुलाई सुबह आठ बजे यह घटकर 41000 क्यूसेक के करीब आ गया है। मौसम विभाग ने फिलहाल इसमें मंगलवार सुबह तक लगभग 15000 क्यूसेक की और कमी का पूर्वानुमान जताया है।
रिहन्द में आने वाली रिहन्द और चाचर नदियों के जलस्तर में काफी कमी आ गयी है। छत्तीसगढ़ के सूरजपुर में 26 जुलाई को रिहन्द का जलस्तर 405.3 मीटर पहुँच गया था जो सोमवार सुबह 10 बजे तक घटकर 399.54 मीटर तक घट गया है। हालांकि मानसून सत्र के दो माह शेष होने को देखते हुए रिहन्द बांध के लिए अनुकूल स्थिति बन गयी है।